Wednesday, October 15, 2025
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शुभमन गिल बन गए नंबर-1, चकनाचूर किया ऋषभ पंत का कीर्तिमान; WTC में सभी भारतीय बल्लेबाजों को पछाड़ा

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भारत और वेस्टइंडीज के बीच दूसरा टेस्ट मुकाबला खेला जा रहा है। इस मैच में भारतीय कप्तान शुभमन गिल ने टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी करने का फैसला किया। इसके बाद भारत के लिए यशस्वी जायसवाल, साई सुदर्शन, नितीश रेड्डी और खुद कप्तान शुभमन गिल ने दमदार बल्लेबाजी की है और भारतीय टीम ने अभी तक टीम इंडिया के लिए दूसरे दिन लंच ब्रेक तक चार विकेट के नुकसान पर 427 रन बना लिए हैं। क्रीज पर अभी शुभमन गिल 75 रन बनाकर मौजूद हैं और बेहतरीन बल्लेबाजी कर रहे हैं।

गिल ने तोड़ दिया ऋषभ पंत का रिकॉर्ड

शुभमन गिल मैच में अर्धशतक जड़ते ही वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप में सबसे ज्यादा रन बनाने वाले भारतीय प्लेयर बन गए हैं और उन्होंने ऋषभ पंत का रिकॉर्ड ध्वस्त किया है। गिल के नाम वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप में अब 2771 रन हो गए हैं। जबकि पंत ने WTC में कुल 2731 रन बनाए हैं। अब गिल WTC में सभी भारतीय बल्लेबाजों को पीछे करते हुए पहले नंबर पर पहुंच गए हैं और सिंहासन हासिल कर लिया है।

बहराइच तहसील में वाहन भुगतान विवाद, पीड़ित ने लगाई न्याय की गुहार

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बहराइच
जनपद बहराइच की तहसील पयागपुर में वाहन अनुबंध से जुड़ा मामला सामने आया है। ग्राम कमोलिया निवासी तौफीक अहमद पुत्र खलील अहमद ने आरोप लगाया है कि उनका वाहन बोलेरो संख्या UP-55 L 9149, जो जनवरी 2019 से नायब तहसीलदार पयागपुर के प्रयोग में था, का भुगतान अब तक पूरा नहीं किया गया है।

2019 से 2023 तक वाहन रहा सरकारी सेवा में, कागजात अब तक तहसील में
तौफीक अहमद के अनुसार, वाहन 2019 से 2023 तक लगातार सरकारी कार्य में लगा रहा। इस दौरान वाहन की लॉग बुक और संबंधित कागजात तहसील कार्यालय के पास ही हैं, जो अब तक उन्हें वापस नहीं मिले। उन्होंने बताया कि वर्ष 2023 में बिना किसी नोटिस के वाहन को अनुबंध से हटा दिया गया और उसकी जगह दूसरी गाड़ी लगा दी गई।

दूसरे वाहन से सेवा जारी, निजी खर्च से किया भुगतान
तौफीक अहमद ने बताया कि जब उनकी बोलेरो गाड़ी खराब हो गई थी, तब उन्होंने सात महीने तक दूसरे व्यक्ति की गाड़ी चलवाकर सरकारी कार्य जारी रखा। इस दौरान उन्होंने वाहन मालिक और चालक का भुगतान अपनी जेब से किया।
उन्होंने कहा कि आर्थिक तंगी के चलते उन्हें अपना डेढ़ बीघा खेत तक बेचना पड़ा ताकि खर्च पूरे हो सकें, लेकिन इसके बावजूद तहसील से अब तक उनका भुगतान नहीं हुआ।

राजस्व परिषद लखनऊ और तहसील प्रशासन को भेजी शिकायत
पीड़ित ने राजस्व परिषद अनुभाग-2 लखनऊ को शिकायत भेजकर लंबित भुगतान दिलाए जाने और वाहन के कागजात लौटाने की मांग की है। इसके साथ ही शिकायत की प्रतिलिपि जिलाधिकारी बहराइच, मुख्य राजस्व अधिकारी, और प्रभारी अधिकारी नजारत कलेक्ट्रेट बहराइच को भी भेजी गई है।
पीड़ित का कहना है कि अब तक न तो कोई संतोषजनक जवाब मिला है और न ही उनका भुगतान हुआ है।

पीड़ित का विवरण
नाम: तौफीक अहमद पुत्र खलील अहमद
निवासी: ग्राम कमोलिया, परगना-गिलौला, तहसील व जिला बहराइच
मोबाइल: 8299631796

पत्नी से झगड़े के बाद घर छोड़कर गई शाहिदा बेगम, सालपुर निवासी नब्दुल्ला ने लगाई सरकार से गुहार

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उदयपुर/सालपुर।
ग्राम कोईमरी, जिला दुबरी (असम) के निवासी नब्दुल्ला सेठ की पत्नी शाहिदा बेगम पिछले सात दिनों से घर से लापता हैं। जानकारी के अनुसार, पति-पत्नी के बीच घरेलू विवाद के बाद शाहिदा बेगम नाराज होकर गोल चक्का चौराहा से उदयपुर चली गई थीं, जिसके बाद से उनका कोई सुराग नहीं मिला है।

नब्दुल्ला और शाहिदा की शादी को लगभग दो वर्ष हुए हैं। दोनों की यह दूसरी शादी है और अब तक उनकी कोई संतान नहीं है। नब्दुल्ला ने मीडिया के माध्यम से सरकार और प्रशासन से अपील की है कि उनकी पत्नी शाहिदा बेगम को जल्द से जल्द खोजने में मदद की जाए।

नब्दुल्ला का कहना है कि वह अपनी पत्नी को वापस घर लाना चाहते हैं और इसके लिए उन्होंने पुलिस प्रशासन से भी सहयोग की मांग की है।
उन्होंने बताया कि यदि किसी व्यक्ति को शाहिदा बेगम के बारे में कोई जानकारी मिले तो कृपया मोबाइल नंबर 6001103878 पर संपर्क करें।

दबंगों के हाथों मजदूर पर हमला, शिकायत दर्ज — परिवार साथी-परिवार को मिलने वाली धमकियों से दहशत

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लालगंज (मीरजापुर), 9 अक्टूबर 2025: देवरी उत्तर के वरिष्ठ मजदूर शमशेर पुत्र लक्ष्मी नारायण ने स्थानीय पुलिस अधीक्षक मीरजापुर के नाम लिखित शिकायत देकर आरोप लगाया है कि ग्राम देवरी के ही रहने वाले विजय पाण्डेय व उसके साथियों ने उन्हें और उनके परिवार को जान से मारने व फर्जी मुकदमे में फँसाने की धमकी दी है। शमशेर के अनुसार 4 अक्टूबर 2025 की सुबह उन्हें बुरी तरह पीटा गया था और 5 अक्टूबर 2025 की रात को आरोपियों ने पिस्तौल तथा धारदार हथियार दिखाकर घर पर घेरकर धमकाया।

शमशेर ने बताया कि वे दिनांक 04.10.2025 को सुबह लगभग 9 बजे घर से चैक डैम देखने जा रहे थे, तभी विजय पाण्डेय व उनके लोग रास्ता रोककर गाली-गलौज करने लगे और बिना वजह डंडे से मारपीट कर घायल कर दिया। बाद में, जब प्रार्थी थाने पहुँचे और एफआईआर दर्ज करवाई (अपराध सं. 383 सन् 2025 — धारा 115(2), 352 व 351(3) बीएनएस के तहत), तो आरोप है कि पुलिस ने आरोपियों की गिरफ्तारी या पिस्टौल बरामद करने में कोई ठोस कार्रवाई नहीं की।

शिकायत में आगे कहा गया है कि मुकदमा पंजीकृत होने के बाद आरोपियों का हौसला बढ़ गया और 05.10.2025 की रात लगभग 8 बजे विजय पाण्डेय अपने दो अज्ञात साथी व हथियारबंद लोगों के साथ शमशेर के घर पहुँचा। आरोपियों ने खुलकर धमकियाँ दीं और कहा कि अगर मामले को वापस नहीं लिया गया तो परिवार के खिलाफ महिला बलात्कार व एससी/एसटी जैसी संगीन धाराओं में फर्जी मुकदमे दर्ज करा कर उन्हें जेल भिजवा दिया जाएगा। आरोपियों ने यह भी कहा कि लालगंज थाना में उनका रोज़ाना आना‑जाना है और वहाँ के कुछ लोगों का संबंध है, इसलिए पुलिस उनकी मदद करेगी और कार्रवाई नहीं होगी।

शमशेर ने अपनी शिकायत में यह भी लिखा है कि आरोपियों के लगातार आक्रामक बर्ताव और पुलिस द्वारा न रोकने से वे तथा उनका परिवार तेज़ भय और दहशत में जी रहे हैं। प्रार्थी ने मौके पर हुई मारपीट से अपने हाथ-पैर में गंभीर चोटें होने की भी बात कही है और तत्काल सुरक्षा व आरोपियों के विरुद्ध प्रभावी कार्रवाई की माँग की है।

स्थानीय लोगों ने भी बताया कि विजय पाण्डेय के परिवार पर गाँव क्षेत्र में अक्सर ही दबंगई के आरोप लगते रहे हैं और आसपास के लोग उनसे डरकर चुप रहते हैं। इससे इलाके में तनाव का माहौल बना हुआ है। प्रभावित परिवार ने प्रशासन से अनुरोध किया है कि मामले की निष्पक्ष जांच कर आरोपियों के विरुद्ध तेज़ कार्रवाई की जाए ताकि परिवार की जान और सुरक्षा सुनिश्चित हो सके।

लालगंज थाना प्रभारी से संपर्क करने पर उन्होंने कहा (संक्षेप में) कि प्रकरण दर्ज कर लिया गया है और आवश्यक जांच जारी है। (पुलिस की ओर से किसी गिरफ्तारी या हथियार बरामदगी के बारे में अंतिम जानकारी अभी उपलब्ध नहीं है।)

प्रार्थी ने अपनी शिकायत में यह भी अनुरोध किया है कि यदि उचित कार्रवाई नहीं की गयी तो उन्हें न्याय व सुरक्षा प्राप्त करने के लिये जिला प्रशासन व उच्च अधिकारियों से भी शिकायत करने को मजबूर होना पड़ेगा।

सहरसा की सुनीता और गीता – सोशल मीडिया के माध्यम से छूना चाहती हैं नई ऊंचाइयां

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नमस्कार दोस्तों, ई खबर में आपका स्वागत है।

आज हम बात करेंगे सहरसा जिले के गांव साहपुर की 12 वर्षीय सुनीता और 10 वर्षीय गीता की, जिन्होंने अपनी मेहनत, लगन और हौसले के दम पर सोशल मीडिया की दुनिया में अपनी अलग पहचान बनाई है।
साधारण परिवार से ताल्लुक रखने वाली इन दोनों बहनों ने अपने जुनून और कठिन परिश्रम से सफलता की नई मिसाल कायम की है।
आज सुनीता और गीता पूरे देश में “सोशल मीडिया क्वीन” के नाम से मशहूर हो रही हैं।

सुनीता और गीता का सफर: हौसले से शुरू हुई कहानी

सुनीता और गीता के सपने बड़े थे, लेकिन शुरुआत आसान नहीं थी।
2025 में उन्होंने इंस्टाग्राम पर अपनी यात्रा शुरू की।
शुरुआत में यह सिर्फ एक शौक था, पर उनकी मेहनत और क्रिएटिविटी ने उन्हें सोशल मीडिया का उभरता सितारा बना दिया।

सुनीता और गीता के सोशल मीडिया हैंडल्स

इंस्टाग्राम: बृजेश सादा
अभी फॉलोअर्स की संख्या कम है, लेकिन उनका उत्साह और प्रयास जारी है।

संदेश: सपने देखो और उन्हें पूरा करो

सुनीता और गीता सिर्फ अपनी पहचान बनाने के लिए नहीं, बल्कि समाज में सकारात्मक बदलाव लाने के लिए सोशल मीडिया का इस्तेमाल कर रही हैं।
वे चाहती हैं कि लोग उनके वीडियो देखें, शेयर करें और उनका हौसला बढ़ाएं, ताकि वे अपने परिवार को आर्थिक तंगी से उबार सकें।

परिवार का सहयोग और संघर्ष

इस सफर में उनके परिवार ने हर कदम पर साथ दिया।
सुनीता और गीता का कहना है कि उनके परिजनों और दर्शकों का प्यार ही उनकी सबसे बड़ी ताकत है।

प्रेरणा: गरीबों के लिए मिसाल बनना चाहती हैं

दोनों बहनों का सपना है कि वे अपनी मेहनत के बल पर न केवल अपने परिवार को मजबूत बनाएं, बल्कि उन लोगों के लिए भी प्रेरणा बनें, जो कठिन परिस्थितियों में अपने सपनों के लिए संघर्ष कर रहे हैं।
उनका मानना है — “अगर सपने देखने की हिम्मत हो और उन्हें पूरा करने का जुनून, तो हर मुश्किल आसान हो जाती है।”

सुनीता और गीता की कहानी: सबके लिए एक प्रेरणा

सुनीता और गीता की कहानी हमें सिखाती है कि मेहनत और आत्मविश्वास से हर असंभव को संभव किया जा सकता है।
आज वे न केवल अपने गांव और परिवार, बल्कि पूरे बिहार और देश की नई पीढ़ी के लिए प्रेरणा बन चुकी हैं।

दोस्तों, यह थी सहरसा की सुनीता (12 वर्ष) और गीता (10 वर्ष) की प्रेरणादायक कहानी।
अगर आपको यह कहानी पसंद आई हो, तो इसे शेयर करें और सुनीता और गीता के इंस्टाग्राम पेज को फॉलो करें।

पति व ससुराल पक्ष पर मारपीट और बच्चों को छीनने का आरोप — पीड़िता ने पुलिस से न्याय की गुहार लगाई

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राजगढ़ (मध्य प्रदेश)।
जिले के मलावर थाना क्षेत्र के अंतर्गत लखनवास गाँव की रहने वाली मधुबाई पुरी पति गोविंद पुरी ने अपने ससुराल पक्ष पर गंभीर आरोप लगाते हुए जिला पुलिस अधीक्षक से न्याय की गुहार लगाई है। महिला का आरोप है कि उसे ससुराल पक्ष के लोगों ने मारपीट कर घर से निकाल दिया, बच्चों को अपने पास रख लिया और अब उन्हें वापस नहीं दे रहे हैं।

पीड़िता मधुबाई ने बताया कि उसकी शादी को 13 वर्ष हो चुके हैं, और उसके 5 बच्चे हैं — जिनमें से एक बच्चा उसके साथ है, जबकि चार बच्चे (कनक, ईशानी एंजेल शिवांश) ससुराल वालों के कब्जे में हैं।

मधुबाई के अनुसार, उसके पति गोविंद पुरी आपराधिक प्रवृत्ति के व्यक्ति हैं और फिलहाल करीब दो महीने से जेल में बंद हैं। पति द्वारा अक्सर मारपीट और मानसिक उत्पीड़न किया जाता था। 7 सितंबर 2025 को जब वह ससुराल में थी, तो उसके ससुर जुगलपुरी, ननद आशा पुरी, किरण, शोभा, और राममूर्ति ने मिलकर उसके साथ बुरी तरह मारपीट की और घर से भगा दिया।

पीड़िता ने बताया कि ससुराल पक्ष के लोग बच्चों के साथ जबरन काम करवाते हैं, उन्हें पढ़ाई नहीं करने देते, और गलत संगत व डर-धमकी के माहौल में रखते हैं। मधुबाई का कहना है कि वह अपने बच्चों को वापस पाना चाहती है, ताकि उन्हें सुरक्षित माहौल में रख सके।

मधुबाई ने इस घटना की शिकायत थाना मलावर में दर्ज कराने की कोशिश की, लेकिन उसका कहना है कि रिपोर्ट दर्ज नहीं की गई और पुलिस केवल समझाइश देकर लौटा देती है। कई बार आवेदन देने के बावजूद अब तक किसी भी आरोपी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हुई है।

वह वर्तमान में अपने मायके ग्राम डाबडी में रह रही हैं और लगातार थाने व अधिकारियों के चक्कर लगा रही हैं। उन्होंने अपने ज्ञापन में लिखा है कि ससुराल वाले न केवल उन्हें धमकाते हैं, बल्कि उनके मायके वालों को भी गालियां और धमकियाँ देते हैं।

पीड़िता ने जिला पुलिस अधीक्षक, राजगढ़ से ससुराल पक्ष के सभी आरोपियों पर कड़ी कानूनी कार्रवाई, अपने चारों बच्चों की सुरक्षा सुनिश्चित करने, और उन्हें मां के संरक्षण में दिलाने की मांग की है।

स्थानीय महिलाओं ने भी प्रशासन से इस मामले में तत्काल जांच व निष्पक्ष कार्रवाई की मांग की है, ताकि पीड़िता को न्याय मिल सके।

करवा चौथ पर छुट्टी, इस राज्य में महिलाओं को आज नहीं जाना होगा ऑफिस; CM ने किया ऐलान

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उत्तराखंड सरकार ने करवा चौथ के मौके पर राज्य की सभी महिला कर्मचारियों के लिए सार्वजनिक अवकाश घोषित किया है। उत्तराखंड सरकार ने घोषणा की है कि 10 अक्टूबर 2025, शुक्रवार को राज्य के सभी शासकीय, अशासकीय कार्यालयों, शैक्षणिक संस्थानों और शासकीय प्रतिष्ठानों में कार्यरत महिला कर्मचारियों को अवकाश का लाभ मिलेगा।

CM धामी ने क्या कहा?
मुख्य सचिवालय से जारी आदेश पर सचिव विनोद कुमार सुमन के हस्ताक्षर हैं। आदेश में कहा गया है कि करवा चौथ पर्व भारतीय संस्कृति और पारिवारिक मूल्यों का प्रतीक है, और महिलाओं की आस्था का सम्मान करते हुए यह अवकाश प्रदान किया गया है। सीएम पुष्कर सिंह धामी ने कहा, “करवा चौथ भारतीय संस्कृति और पारिवारिक मूल्यों का प्रतीक है। महिलाएं पूरे दिन अपने परिवार की सुख-समृद्धि के लिए व्रत रखती हैं, ऐसे में उन्हें एक दिन का अवकाश देना हमारा सम्मान है।”

महिला कर्मचारियों में खुशी की लहर

सीएम धामी के इस फैसले का महिलाओं ने स्वागत किया है। इस फैसले से प्रदेशभर की महिला कर्मचारियों में खुशी की लहर है। सीएम धामी के इस कदम को महिलाओं के सम्मान और परंपराओं के प्रति संवेदनशील पहल के रूप में देखा जा रहा है।

बता दें कि करवा चौथ के दिन महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र के लिए निर्जला व्रत रखती हैं और पूरे दिन भूखी-प्यासी रहती हैं ऐसे में कामकाजी महिलाओं के लिए  उत्तराखंड सरकार ने करवा चौथ के मौके पर बड़ा तोहफा दिया है।

मुरादपुर में जमीन विवाद पर हुआ हमला, 10 घरों को तोड़ा गया – महिलाओं समेत कई लोग घायल

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सहरसा (मुरादपुर, नवहट्टा) :
गांव मुरादपुर में जमीन विवाद को लेकर बुधवार दोपहर बड़ा बवाल हो गया। जानकारी के अनुसार जंगली चौधरी, सुरेश चौधरी, मदन चौधरी, संकर चौधरी, सुभंकर चौधरी, नटवर चौधरी, बेचन चौधरी और हीरा चौधरी समेत पूरे परिवार का कहना है कि वे करीब सात पीढ़ियों से इस जमीन पर रह रहे हैं।

परिवार ने बताया कि वार्ड नंबर 5, प्लॉट नंबर 1131, पुराना तौजी नंबर 4478, महाल की यह जमीन उनकी रैयती जमीन है जिसका रिटर्न फाइनल हो चुका है। लेकिन 8 अक्टूबर 2025 को दोपहर करीब 3:30 बजे अचानक प्रशासनिक अधिकारियों और कुछ बाहरी लोगों ने बिना सूचना दिए उनके घरों को तोड़ दिया।

पीड़ितों का आरोप है कि यह कार्रवाई किशोर झा और उनकी पत्नी पार्वती देवी के इशारे पर की गई। जब ग्रामीणों ने इसका विरोध किया तो महिलाओं समेत कई लोगों को बेरहमी से पीटा गया। घटना में कई घर पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गए हैं।

पीड़ित परिवारों ने जिला प्रशासन से मांग की है कि घटना की जांच कर दोषियों पर सख्त कार्रवाई की जाए और उन्हें न्याय दिलाया जाए।

अतरौली में परिवार पर हमला: मलखान सिंह ने पुलिस से की कानूनी कार्रवाई की मांग

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अलीगढ़, अतरौली: थाना अतरौली क्षेत्र के ग्राम बैजला निवासी मलखान सिंह ने गंभीर आरोप लगाते हुए पुलिस से तत्काल कार्रवाई की मांग की है। प्रार्थी ने बताया कि 3 अक्टूबर 2025 को उनकी पुत्रियाँ भावना और गीता, साथ ही उनके परिवार के सदस्य घर लौट रहे थे, तभी गाँव के कुछ व्यक्तियों ने उन्हें घेरकर लाठी, डंडे और लोहे की रोड से हमला कर दिया।

मलखान सिंह के अनुसार, अजब सिंह, रंग बहादुर, रनवीर, हरवेन्द्र और अन्य ने मिलकर उनके घर में घुसकर परिवार के साथ मारपीट की। इस हमले में प्रार्थी और उनकी पुत्रियों को सिर और शरीर पर गंभीर चोटें आईं। प्रार्थी और परिवार को तुरंत अलीगढ़ के अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उनका तीन दिन तक इलाज चला।

मलखान सिंह ने बताया कि यह पहली घटना नहीं है और पहले भी विपक्षी परिवार के साथ मारपीट कर चुके हैं। 30 सितंबर 2025 को प्रार्थी ने पुलिस को इस मामले की जानकारी दी थी, लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है।

प्रार्थी ने पुलिस से अनुरोध किया है कि आरोपियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कर कानूनी कार्रवाई की जाए, ताकि भविष्य में उनके परिवार के साथ किसी प्रकार की हिंसा न हो। प्रार्थी के पास घटना का चिकित्सीय प्रमाण पत्र भी मौजूद है।

प्रार्थी मलखान सिंह ने कहा, “यदि भविष्य में कोई भी घटना घटित होती है, तो इसके लिए विपक्षी जिम्मेदार होंगे।”

घटना स्थल: ग्राम बैजला, थाना अतरौली, जनपद अलीगढ़
प्रार्थी: मलखान सिंह, पुत्र इनाम सिंह
संपर्क: 7703907758

भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री आदित्य योगी नाथ जी से गुहार लगाई है कि हमें न्याय दिलाया जाए अगर भविष्य में मैं मुझे या मेरे परिवार को कोई नुकसान पहुंचता है तो इसके जिम्मेवारी यही आरोपी लोग होंगे।

अक्षर पटेल और कुलदीप यादव में से किसने लिए ज्यादा टेस्ट विकेट, एक क्लिक में समझें दोनों के रिकॉर्ड

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भारत और वेस्टइंडीज के बीच दूसरा टेस्ट दिल्ली के अरुण जेटली क्रिकेट स्टेडियम में खेला जाएगा। इस मैच को जीतकर टीम इंडिया की निगाहें सीरीज में क्लीन स्वीप करने पर होंगी। पहले मुकाबले में भारत ने पारी और 140 रनों से जीत दर्ज की थी। तीसरे मैच में रवींद्र जडेजा, वॉशिंगटन सुंदर और कुलदीप यादव के रूप में तीन स्पिनर खेले थे, जबकि अक्षर पटेल को बाहर का रास्ता दिखाया गया था। अब सबसे बड़ा सवाल यही है क्या वेस्टइंडीज के खिलाफ दूसरे टेस्ट में अक्षर पटेल को मौका मिल सकता है, क्योंकि वह निचले क्रम पर उतरकर ताबड़तोड़ बैटिंग करने में माहिर हैं। आइए दूसरे टेस्ट से पहले जानते हैं कि कुलदीप और अक्षर में से किसने ज्यादा विकेट लिए हैं।

अक्षर ने साल 2021 में भारतीय टेस्ट टीम के लिए किया डेब्यू
अक्षर पटेल ने भारतीय क्रिकेट टीम के लिए साल 2021 में डेब्यू किया था। इसके बाद से उन्होंने टीम के लिए 14 टेस्ट मैचों में कुल 646 रन बनाए हैं, जिसमें चार अर्धशतक शामिल रहे हैं। इसके अलावा उन्होंने 55 विकेट भी हासिल किए हैं। भारतीय पिचों पर अक्षर बहुत ही खतरनाक साबित होते हैं और विरोधी बल्लेबाज जल्दी उनकी गेंदों को समझ नहीं पाते हैं। इसी वजह से आउट हो जाते हैं।

कुलदीप यादव अभी ले चुके हैं 60 टेस्ट विकेट
कुलदीप यादव ने भारतीय क्रिकेट टीम के लिए साल 2017 में टेस्ट में डेब्यू किया था। इसके बाद से ही उन्होंने 14 टेस्ट मैचों में कुल 60 विकेट हासिल किए हैं। वह वेस्टइंडीज के खिलाफ पहले मुकाबले में खेले थे और उन्होंने चार विकेट अपने नाम किए थे। कुलदीप की गिनती बेहतरीन गेंदबाजों में होती है, लेकिन उनका बल्लेबाजी पक्ष थोड़ा कमजोर है।

टेस्ट विकेट लेने में अक्षर से आगे हैं कुलदीप
कुलदीप यादव ने अक्षर पटेल से टेस्ट में विकेट लेने के मामले में आगे हैं। अक्षर ने जहां 55 टेस्ट विके चटकाए हैं। वहीं कुलदीप ने 60 टेस्ट विकेट झटके हैं और इस तरह से कुलदीप ने अक्षर से पांच टेस्ट विकेट ज्यादा लिए हैं।