हैदराबाद / बलिया (स्पेशल रिपोर्ट)। — हैदराबाद में नौकरी करने वाले आनंद कुमार यादव ने गंभीर आरोप लगाए हैं कि उनकी पत्नी रश्मिता साहू (30) व एक परिचित शिव कुमार शाह (मुज़फ़्फरपुर-गायघाट) ने 10 अक्टूबर 2025 की दोपहर लगभग 3:00 बजे उनके पुत्र आदित्य को लेकर फरार हो गए। आनन-फानन में आनंद ने बताया कि घर से आभूषण, बैंक में संयुक्त खाते की बड़ी राशि और अहम दस्तावेज़ भी गायब हैं। अब पिता खुद को असहाय व खतरे में महसूस कर रहे हैं और मीडिया के जरिए अपने बेटे को वापस दिलाने की भीख माँग रहे हैं।
घटनाक्रम — अचानक गायब हुए घर के सदस्य
आनंद का कहना है कि 10 अक्टूबर को जब वे कंपनी में काम पर गए थे, उसी समय उनकी पत्नी और बेटा अचानक घर से लापता हो गए। घर लौटने पर देखा कि घर का सामान बिखरा हुआ था और घर पर कोई भी मौजूद नहीं था। आनन-फानन में उन्होंने रश्मिता को कॉल किया तो फोन बार-बार स्विच ऑफ दिखा। किसी दूसरे नंबर से कॉल करने पर रश्मिता ने फोन उठाया, लेकिन बातचीत के दौरान धमकी दी गई और फोन काट दिया गया।
आनंद बताते हैं कि रश्मिता के साथ भागे व्यक्ति का नाम शिव कुमार शाह है जो पहले आनंद के साथ काम भी कर चुका था। आनंद को इस बात का बिल्कुल अंदेशा नहीं था कि वही उनका साथी उनकी पत्नी को साथ लेकर भाग जाएगा।
धन-दावों और दस्तावेज़ों की भी चोरी का आरोप
पीड़ित का आरोप है कि रश्मिता व शिव ने मिलकर डेढ़ लाख रूपये के आभूषण भी साथ ले लिए तथा आनंद और रश्मिता के जॉइंट बैंक खाते से लगभग ढाई लाख रुपये निकाल लिए। बैंक जाकर जब आनंद ने स्थिति जांची तो निकासी की पुष्टि मिली। साथ ही आनंद ने आरोप लगाया कि उनके आधार कार्ड, पैन कार्ड व अन्य महत्वपूर्ण दस्तावेज़ भी रश्मिता के साथ चले गए हैं, जिससे वे और अधिक असुरक्षित महसूस कर रहे हैं।
धमकियाँ, गर्भ संबंधी दावे और पारिवारिक समर्थन का आरोप
आनंद का आरोप है कि रश्मिता के माता-पिता — जिनमें पिता राम सकल शाह का नाम उनका हवाला है — उनकी बेटी के इस कदम को सही ठहरा रहे हैं। आनंद के अनुसार, घर पर संपर्क करने पर रश्मिता अक्सर धमकी देती है और कॉल काट देती है। आनंद ने मीडिया को बताया कि रश्मिता ने कहा कि “मेरे पेट का बच्चा मैंने अबॉर्शन करवा लिया है” और कथित तौर पर उनके पुत्र आदित्य को नुकसान पहुँचाने की धमकी दी — साथ ही कहा गया कि अगर आनंद ₹3 लाख नहीं देंगे तो आदित्य को नुकसान पहुँचाया जा सकता है। आनंद का कहना है कि शिव कुमार भी इसी प्रकार की धमकियाँ देता रहा है।
पिता की अकेलाई — न्याय के लिए गुहार
आनंद ने मीडिया से कहा कि वे अपने माता-पिता (जो स्वर्गीय बताये गए हैं) के बिना अकेले हैं और इसलिए इस संकट में उनका कोई सहारा नहीं है। स्थानीय स्तर पर सुनवाई न होने से वे अत्यंत व्यथित हैं और डरते हैं कि उनके और उनके बच्चे की जान को वास्तविक खतरा है। आनंद ने साफ-साफ कहा — “मेरा एक ही मकसद है, मेरा बेटा आदित्य मुझे चाहिए। मैं उसे अपनी बाँहों में वापस पाना चाहता हूँ।”
आनंद कुमार ने कहा है कि मुझे और मेरे बेटे को कुछ होता है या जान पर बन के आती है तो इसकी सारी जिम्मेदारी रश्मिता साहू और शिवा कुमार साह की होगी
आनंद ने मीडिया से अपील करते हुए कहा है कि उनकी आवाज़ को अधिक से अधिक जगह दी जाए ताकि प्रशासन व सामाजिक संस्थाएँ इस पर ध्यान दें और उनके बेटे आदित्य को सुरक्षित उनके पास लौटवाया जाए। उन्होंने कहा कि वे हर कानूनी कदम उठाने को तैयार हैं, पर मीडिया व समाज की मदद के बिना उनकी दलीलें दब जाती हैं।
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